सात सामाजिक पाप , अहिंसा का दर्शन और गांधी मोहनदास करमचंद गांधी भारत एवं भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन के एक प्रमुख राजनैतिक एवं आध्यात्मिक नेता थे। सत्य के मूल्यों की सार्थकता और अहिंसा को महात्मा गांधी द्वारा दशकों पहले आरंभ किया गया और ये मान्यताएं आज भी सत्य हैं। एक अनोखी लोकतांत्रिक व्यवस्था वह है जहां प्रत्येक के लिए चिंता , प्रमुख रूप से निर्धनों , महिलाओं और वंचित वर्ग के समूहों , को आदर पूर्वक संबोधित किया जाए। महात्मा गांधी ने लोगों की स्थिति में सुधार लाने के लिए सत्याग्रह का उपयोग किया और वे इन क्षेत्रों में सामाजिक न्याय लाने के लिए निरंतर कार्य करते रहे जैसे सार्वत्रिक शिक्षा , महिलाओं के अधिकार , साम्प्रदायिक सौहार्द , निर्धनता का उन्मूलन , खादी के उपयोग को प्रोत्साहन आदि। महात्मा गांधी के विचार पद्धति का व्यापक दृष्टिकोण समाज के प्रति रहा है , इसलिए गांधी की सबसे बड़ी देन उसकी विचारधारा के अंतर्गत साध्य के साथ-साथ साधना की पवित्रता का भी ध्यान रहा है जो सर्वोदय के माध्यम से आदर्श समाज की पृष्ठभूमि को तैयार करता है। महात्मा ग...
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